- पन्द्रह हजार परिवारों में गोदोहासन कैवल्य मुद्रा में नवकार जाप
- आज शासनपति भगवान महावीर स्वामी का चतुर्विध संघ स्थापना दिवस
भगवान महावीर जन्मकल्याणक महोत्सव के अवसर पर कैवल्य कल्याणक दिवस प्रत्यर्थ विश्व के सकल जैन समाज ने गोदोहासन मुद्रा में नवकार जाप कर वीर प्रभु से कोरोना मुक्ति की प्रार्थना की ।भगवान महावीर स्वामी ने साढ़े बारह वर्ष की साधना करते हुए ऋजुबालिका नदी के तट पर शाल वृक्ष के नीचे गोदोहासन मुद्रा में काउसगग ध्यान करते हुए केवल ज्ञान की प्राप्ति की थी । भगवान महावीर जन्मकल्याणक महोत्सव समिति के अध्यक्ष महेन्द्र कोचर व महासचिव चन्द्रेश शाह ने बताया कि वीर प्रभु ने सदैव विश्व कल्याण की कामना की थी ।
अतः विश्व भर के जैन समाज ने कैवल्य मुद्रा गोदोहासन में नवकार महामन्त्र का जाप कर विश्व के कोरोना पीड़ितों के लिए आरोग्य की प्रार्थना की है । भक्त की प्रार्थना में बड़ी शक्ति होती है । अध्यक्ष महेन्द्र कोचर ने बताया कि बच्चों को महावीर स्वामी के केवल ज्ञान व गोदोहासन की ज्ञान अभिवृद्धि हुई , बच्चों ने उत्साहपूर्वक परिवार के साथ नवकार जाप में भाग लिया ।
पन्द्रह हजार से ज्यादा परिवारों में जाप किया गया । गुजरात, राजस्थान, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, झारखंड, तामिलनाडु , कर्नाटक , दिल्ली , उड़िसा सहित पूरे छत्तीसगढ़ के अनेक शहरों से गोदोहासन मुद्रा में सपरिवार नवकार जाप की जानकारी व फोटोज व्हाट्सएप के माध्यम से मिली है । कार्यक्रम संयोजक अमर बरलोटा व महावीर कोचर ने बताया किजैन भाई बहनों ने घर के मंदिर ने या वृक्ष के नीचे ज्ञान प्रतीक दीपक प्रज्वलित कर गोदोहासन में 12 नवकार महामन्त्र का जाप किया अनेक लोगों ने पांच बार भी जाप किया ।
सकल जैन समाज ने इस विश्वास से जाप किया कि कोरोना से जीत हासिल कर लेंगे और दृढ़ विश्वास की जीत निश्चित है ।समिति के अध्यक्ष महेन्द्र कोचर ने कहा कि इस वर्ष भगवान महावीर स्वामी के पाँचों कल्याणक दिवस पर विविध धर्म आराधना की जावेगी ।कैवल्य कल्याणक के अगले दिन भगवान महावीर स्वामी ने चतुर्विध संघ की स्थापना की । साधु साध्वी श्रावक श्राविका ये जैन संघ के चार स्तंभ हैं । वैसाख सुदी ग्यारस को वर्तमान शासनपति महावीर स्वामी के जैन संघ का स्थापना दिवस है । वर्तमान के सभी साधु साध्वी श्रावक श्राविका इसी जैन धर्म संघ के हिस्से हैं ।