रायपुर : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज तीन दिवसीय खैरागढ़ महोत्सव का दीप प्रज्ज्वलित कर शुभारंभ किया। इस दौरान उन्होंने 6 करोड़ 51 लाख रूपए के विकास कार्यों का भूमिपूजन किया तथा चिटफंड कंपनी के धोखाधड़ी के शिकार हुए राजनांदगांव जिले 17127 निवेशकों को एक करोड़ 57 लाख रूपए की राशि वापस लौटाई। मुख्यमंत्री बघेल ने राजनांदगांव जिले में 14 करोड़ 74 लाख रूपए की लागत से स्थापित 9 स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय का लोकार्पण भी किया।
राजनांदगांव जिले में पौने 15 करोड़ की लागत से स्थापित 9 स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय का हुआ लोकार्पण राजनांदगांव जिले के चिटफंड निवेशकों को एक करोड़ 97 लाख रूपए की राशि हुई वापसराजनांदगांव जिले में पौने 15 करोड़ की लागत से स्थापित 9 स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय का हुआ लोकार्पण राजनांदगांव जिले के चिटफंड निवेशकों को एक करोड़ 97 लाख रूपए की राशि हुई वापस
मुख्यमंत्री बघेल ने खैरागढ़ इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय के संस्थापक खैरागढ़ के राजा वीरेन्द्र बहादुर सिंह और रानी पद्मावती देवी तथा राजकुमारी इंदिरा को स्मरण करते हुए उन्हें नमन किया। उन्होंने कहा कि संगीत के प्रति एक समर्पित भावना के साथ वर्ष 1956 में स्थापित इस विश्वविद्यालय ने देश-दुनिया में अपनी विशेष पहचान बनाई हैै। उन्होंने खैरागढ़-छुईखदान-गण्डई जिले के निर्माण एवं खैरागढ़ महोत्सव के लिए सभी को हार्दिक बधाई दी।
उन्होंने कहा कि खैरागढ़ जिला निर्माण प्रक्रिया शुरू हो गई है और यहां पर ओएसडी की नियुक्ति भी कर दी गई है। साल्हेवारा को पूर्ण तहसील एवं जालबांधा को उप तहसील बनाया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की गौरवशाली ऐतिहासिक संस्कृति, लोक संस्कृति एवं कला एवं संगीत को बढ़ाने की जरूरत है। नवगठित खैरागढ़़-छुईखदान-गण्डई जिले को समृद्ध जिला और छत्तीसगढ़ राज्य की कलाधानी के रूप में विकसित करना है। उन्होंने कहा कि बस्तर, सरगुजा, रायगढ़ एवं रायपुर में कला एवं संगीत का अध्ययन केन्द्र एवं शाखा होनी चाहिए। उन्होंने इसके लिए बजट में प्रावधान की बात कही।
मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य प्राचीन काल से समृद्ध राज्य के रूप में विख्यात रहा है एवं व्यापारिक रूप से समृद्ध रहा है। राज्य की प्राचीन संस्कृति सभ्यता और कला को विश्व मंच पर स्थापित करने और सहेजने की आवश्यकता है। उन्होंने छत्तीसगढ़ की प्राचीन विशेषताओं की जानकारी देते हुए कहा कि तरीघाट रीवाघाट की खुदाई से अनेक प्राचीन अवशेष मिले हैं। जो राज्य की समृद्ध संस्कृति और विशेषता को प्रदर्शित करता है। यह राज्य न केवल खनिज संपदा के क्षेत्र में अग्रणी है अपितु राज्य की संस्कृति और धरोहर भी विशिष्ट है। उन्होंने आगे कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य की ऐतिहासिक और पौराणिक विशेषता भी रही है। यहां राम वन गमन पथ के माध्यम से इन विशेषता को सहेजना का कार्य किया जा रहा है। जिससे राज्य की पहचान विश्व के मानचित्र में स्थापित हो सके। मुख्यमंत्री ने देर तक रूक कर सुप्रसिद्ध प्लेबैक सिंगर कविता कृष्णमूर्ति के गीतों का आनंद लिया।
उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल ने अपने उद्बोधन में कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल छत्तीसगढ़ में शिक्षा को गुणवत्ता के साथ विकसित करने पर प्रतिबद्ध है। राज्य में शिक्षा के क्षेत्र में अनेक आयाम किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा के क्षेत्र में प्रत्येक कॉलेज को नेक एक्रेडेशन करने का कार्य किया जा रहा है। इस अवसर पर विश्वविद्यालय की कुलपति पद्म मोक्षदा (ममता) चंद्राकर ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि जिस विश्वविद्यालय में उन्होंने शिक्षा प्राप्त की है, उस विश्वविद्यालय में कुलपति के रूप में रचनात्मक और गुणात्मक कार्य करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ है। उन्होंने विश्वविद्यालय की विशेषता का उल्लेख करते हुए कहा कि यह विश्वविद्यालय अपनी स्थापना से लेकर अब तक कला संगीत के क्षेत्र में अनेक उल्लेखनीय उपलब्धियां अर्जित की है। उन्होंने विश्वविद्यालय के लिए अनेक मांगे रखी। जिसे मुख्यमंत्री ने अगले बजट में पूरा करने का भरोसा दिया।
कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा ने जिले में मुख्यमंत्री द्वारा दी गई सौगात एवं उपलब्धियों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि खैरागढ़ के साल्हेवारा में भी शीघ्र ही स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय प्रारंभ किया जाएगा। इस अवसर पर सुप्रसिद्ध प्लेबैक सिंगर कविता कृष्णमूर्ति के गीतों ने समा बांध दिया। एक से बढ़कर एक मधुर गीतों की प्रस्तुति दी। इस अवसर पर संसदीय सचिव कुंवर सिंह निषाद, छत्तीसगढ़ राज्य अन्य पिछड़ा वर्ग विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष दलेश्वर साहू, नवनिर्वाचित विधायक यशोदा निलाम्बर वर्मा, नगर पालिका खैरागढ़ के अध्यक्ष शैलेन्द्र वर्मा, आईजी ओपी पाल, पुलिस अधीक्षक संतोष सिंह, एसडीएम टंकेश्वर साहू सहित गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।