रायपुर : छत्तीसगढ़ प्रदेश साहू संघ के पुर्व कार्यकारी अध्यक्ष शांतनु साहू अपने हजारों समर्थकों के साथ, समाज के बेटी को न्याय दिलाने राजभवन के घेराव में होंगे शामिल, शांतनु साहू प्रदेश साहू संघ के दो – दो बार कार्यकारी अध्यक्ष रह चुके हैं, जिसका पूरा छत्तीसगढ़ के साहू समाज में काफी प्रभाव हैं, शांतनु साहू ने पत्रकारो से चर्चा करते हुये कहा कि पिडिता – आशा देवी साहू के जायज मांग को लेकर, समाज के हजारों लोगो के साथ खुद भी शामिल होंगे,
बताते चले कि आगामी 07 जुलाई को राजभवन के सामने धरना प्रदर्शन में शामिल होने लगातार न्यूज़ देखने व सुनने को मिल रहा है, छत्तीसगढ़ प्रदेश साहू संघ न्याय प्रकोष्ठ के अध्यक्ष / संयोजक आनंद राम साहू ने भी अपना समर्थन देने की घोषणा कर चुके हैं। शांतनु साहू ने आगे बताया कि पीड़िता आशा देवी साहू ने, सूचना पत्र कलेक्टर रायपुर एवँ कलेक्टर बलौदाबाजार को भेजकर जानकारी दिया हैं कि आगामी 07 जुलाई 2022 को 12 बजे से राजभवन रायपुर के सामने अनिश्चितत कालीन धरना प्रदर्शन कर अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) पद से नरेंद्र बंजारा भाटापारा को हटाकर पुनः तहसीलदार बनाने की मांग करेंगे, छत्तीसगढ़ प्रदेश साहू संघ के न्याय प्रकोष्ठ के अध्यक्ष / संयोजक आनंद राम साहू से पहले भी कांग्रेस नेता पार्वती साहू , रास्ट्रीय सचिव इंटक व कांग्रेस के युवा नेता रितेश साहू ने बताया कि नरेंद्र बंजारा ने जब तिल्दा – नेवरा में तहसीलदार के पद पर पदस्थ थे , पीड़िता के प्रकरण में आरोपियों से लेन देन कर प्रकरण में हल्का पटवारी से बिना स्पस्टीकरण लिये , आरोपियों का नाम उक्त प्रकरण के खाते में कैसे दर्ज हुवा , बिना जांच करवाये ही विधि के मंशा के विपरीत जाकर पीड़िता के प्रकरण को खारिज कर दिया था।
जबकि जांच करवा कर फर्जी रूप से की गई वैसियत की नामांतरण को शून्य कर , की गई फर्जी नामांतरण को खारिज करना था , मगर ऐसा नही कर तहसीलदार नरेंद्र बंजारा द्वारा आरोपियों से लेन देन कर पीड़िता के प्रकरण में नरेंद्र बंजारा द्वारा दिनाँक 23/10/2017 को पारित गलत आदेश को न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) रायपुर में अपील किया तब माननीय न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी रायपुर ने पीड़िता के आवेदन को गंभीरता पूर्वक जांच – पड़ताल कर तहसीलदार नरेंद्र बंजारा द्वारा पारित आदेश दिनाँक 23/10/ 2017 को विधि सम्मत नही होने के कारण दिनाँक 09/07/2018 को खारिज कर दिया।
तब आरोपीगणों ने माननीय न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) रायपुर के आदेश को माननीय न्यायालय आयुक्त रायपुर संभाग रायपुर में अपील किये थे , जिसे माननीय न्यायालय आयुक्त रायपुर संभाग ने प्रकरण का अवलोकन कर गहन परीक्षण कर दोनो पक्षो को पर्याप्त सुनने के बाद , माननीय न्यायालय आयुक्त रायपुर ने पाया कि न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी ने अपने अपील आदेश में विस्तृत विवेचना कर आदेश पारित किया हैं, जिसे दोहराने की आवश्यकता नही हैं, और न्यायलय अनुविभागीय अधिकारी के आदेश उचित व सही हैं, इसलिये अनुविभागीय अधिकारी (रा.) रायपुर द्वारा पारित आदेश 09/07/2018 को स्थिर रखते हुये आरोपियों के द्वारा प्रस्तुत अपील आवेदन को माननीय न्यायालय आयुक्त महोदय रायपुर ने दिनाँक 09/12/2020 को निरस्त किया।
उसके बाद भी आरोपियों ने न्यायालय आयुक्त रायपुर संभाग रायपुर के आदेश को दिनाँक 09/12/2020 को पुनरीक्षण के लिये न्यायालय छत्तीसगढ़ राजस्व मंडल बिलासपुर सर्किट कोर्ट रायपुर में लगाया था , जिसे माननीय न्यायालय छत्तीसगढ राजस्व मंडल बिलासपुर सर्किट कोर्ट रायपुर ने दोनों पक्षो को सुनने के बाद आरोपीगणों के द्वारा प्रस्तुत पुनरीक्षण – अपील को विधि सम्मत नही होना पाया गया और आदेश के पेज नम्बर 09 पर कड़ी प्रतिक्रिया ब्यक्त करते हुये न्यायालय छत्तीसगढ़ राजस्व मंडल बिलासपुर ,सर्किट कोर्ट रायपुर ने कहा कि तहसीलदार द्वारा गंभीर लापरवाही करते हुये नियम प्रक्रिया का ध्यान दिये बिना विधि विपरीत आदेश पारित किया गया हैं ,
कहते हुये न्यायालय आयुक्त रायपुर संभाग रायपुर के आदेश दिनाँक 09/12/2020 एवँ न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) रायपुर के आदेश दिनाँक 09/07/2018 विधि सम्मत होने के कारण यथावत रख कर आरोपीगणों के द्वारा प्रस्तुत पुनरीक्षण – अपील को अस्वीकार कर आरोपियों के द्वारा प्रस्तुत किया गया आवेदन को निरस्त किया गया । इसी बात को लेकर पीड़िता – आशा देवी साहू द्वारा माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी के पास दिनाँक 09/09/2021 को नरेंद बंजारा को बर्खास्त करने का निवेदन किया था , जिसे माननीय मुख्यमंत्री महोदय जी ने जांच के लिये आयुक्त महोदय रायपुर संभाग रायपुर को भेजा था जिसे आयुक्त महोदय ने दोनों पक्षो को अपने- अपने बात रखने का पर्याप्त अवसर दिया था, नरेंद्र बंजारा का जवाब संतुष्टि जनक नही पाया और 01/02/2022 को विभागीय जांच के आदेश पारित कर अपर कलेक्टर रायपुर को विभागीय जांच अधिकारी बनाया गया।
अपर कलेक्टर बीरेन्द्र बहादुर पंच भाई साहब के न्यायालय में जांच जारी था , जिसे नरेंद्र बंजारा ने 06 मई 2022 को हाई को चुनोती दिया था, जिसे माननीय न्यायालय हाई कोर्ट बिलासपुर ने सुनवाई करते हुये दिनाँक 11/05/2022 को अगली सुनवाई तक के लिये जांच में रोक लगाते हुये , हाई कोर्ट ने अगली सुनवाई का डेट 15/07/2022 रखा है। हाई कोर्ट में सुनवाई का तारीख आया ही नही है और सुनवाई पुरा हुवा ही नही और दागी अधिकारी नरेंद बंजारा को कलेक्टर बलौदाबाजार ने अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) भाटापारा बना दिया हैं, पीड़िता आशा देवी साहू का कहना है अगर किसी भी अधिकारी का विभागीय जांच होता हैं तो उन्हें जांच के होते तक उनके पुराने पद पर वापस बुलाया जाता है , लेकिन विभागीय जांच जारी था , जांच हाई कोर्ट बिलासपुर में आगामी सुनवाई तक के लिये रोक लगा हैं , ये सब बात को जानते हुये 28/05/2022 को कलेक्टर बलौदाबाजार ने नरेंद्र बंजारा को अनुविभागीय अधिकारी बना दिया, जो अनुचित हैं , कलेक्टर महोदय को चाहिये था हाई कोर्ट बिलासपुर में अगली सुनवाई व हाई कोर्ट में प्रकरण के निराकरण तक अनुविभागीय अधिकारी नही बनाना था।
इसी बात को लेकर – पीड़िता आशा देवी साहू ने आगामी 07 जुलाई से राजभवन रायपुर के सामने अनिश्चित कालीन धरना देकर प्रदर्शन करने की सूचना कलेक्टर बलौदाबाजार एवँ कलेक्टर रायपुर को स्पीड पोस्ट के माध्यम से भेज दिया गया हैं। जब तक नरेंद्र बंजारा को अनुविभागीय अधिकारी (रा. ) भाटापारा से हटाकर वापस तहसीलदार न बना दे , तब तक धरना प्रदर्शन जारी रहेगा। जिस धरना प्रदर्शन को छत्तीसगढ़ प्रदेश साहू संघ न्याय प्रकोष्ठ के अध्यक्ष / संयोजक – आंनद राम साहू , कांग्रेस नेता पार्वती साहू , लोकेश साहू , हरीश साहू , राजेश सोनकर , भाजपा नेता व साहू समाज के युवा प्रकोष्ठ के अध्यक्ष लुकेश साहू , चंदू लाल साहू सहित अनेको वरिष्ठजनों ने पीड़िता आशा देवी साहू के मांग को जायज बताते हुये अपने अपने सैकड़ो कार्यकर्ताओ के साथ समर्थन करने 07 जुलाई को 12 बजे राजभवन रायपुर पहुंच कर नरेंद्र बंजारा को हटाने का मांग करेंगे ।शांतनु साहू ने भी पुरे प्रदेश के सामाजिक भाईयो से अपील किया है 07 जुलाई 2022 को धरना प्रदर्शन में शामिल होने अधिक से अधिक संख्या में राजभवन रायपुर पहुंच कर न्याय के लिये लड़ रहे समाज के बेटी का पुरजोर समर्थन करें।