मेट्रो कॉरिडोर के तीन स्टेशन तैयार,16 स्टेशनों के बचे कार्य जल्द पूरे होंगे… गांधी नगर डिपो पर मेट्रो कोच धुलाई का संयंत्र भी तैयार

 इंदौर

इंदौर में छह किलोमीटर के हिस्से में मेट्रो का काम लगभग पुरा हो चुका है। इसके बीच आने वाले तीन मेट्रो स्टेशनों का काम भी पूरा हो चुका है। वहां टिकट खिड़की, लिफ्ट और एस्केलेटर भी लगाए जा चुके है।

जल्दी ही गांधी नगर मेट्रो स्टेशन से टीसीएस चौराहे तक कर्मशियल रन शुरू होगा। डेढ़ साल पहले इस हिस्से में ही तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की मौजूदगी में ट्रायल रन किया गया था।

अब छह किलोमीटर तक मेट्रो ट्रेन के कमर्शियल रन के लिए कमिश्नर ऑफ रेलवे सेफ्टी की टीम 21 जनवरी को इंदौर पहुंच जाएगी। टीम द्वारा सेफ्टी ऑडिट करने के बाद एक सप्ताह में एनओसी जारी की जाएगी। इसके बाद इंदौर में मेट्रो ट्रेन का कमर्शियल रन शुरू किया जा सकेगा। जिस हिस्से में मेट्रो ट्रेन का संचालन होगा। वहां न तो आबादी है  और न ही पर्याप्त यात्री संख्या। इस कारण संचालन के बाद फायदा नहीं होगा।

 प्रदेश के प्रमुख सचिव नगरीय प्रशासन संजय शुक्ला ने मेट्रो प्रोजेक्ट की समीक्षा की। उन्होंने अफसरों को निर्देश दिए है कि अब एमआर-9 चौराहा से आगे काम शुरू किया जाए।

17 किलोमीटर हिस्से में होना था ट्रायल रन

इंदौर में मेट्रो का काम 31 किलोमीटर हिस्से में होना है। फिलहाल गांधी नगर से रेडिसन चौराहा तक का काम पूरा हो चुका है। इस साल 17 किलोमीटर लंबाई में ट्रायल रन होना था, लेकिन चंद्रगुप्त मोर्य प्रतिमा चौराहा से विजय नगर चौराहा तक मेट्रो स्टेशन ही तैयार नहीं हो पाए है। नाथ मंदिर से बड़ा गणपति तक मेट्रो का अंडरग्राउंड काम भी होना है, लेकिन उसे भी अभी तक शुरू नहीं किया जा सका है। कान्ह नदी में 50 मीटर लंबाई में एक सुरंग भी बनेगी। जिससे होकर मेट्रो ट्रेन सदर बाजार की तरफ जाएगी।

 गांधी नगर डिपो पर मेट्रो कोच धुलाई का संयंत्र भी तैयार

6 किलोमीटर के प्रायोरिटी कॉरिडोर पर जल्द ही व्यावसायिक संचालन शुरू करने की तैयारी है, जिसके चलते स्टेशनों के निर्माण कार्य को अनुमति दी गई है, वहीं गांधी नगर में कोच की धुलाई के लिए एक वॉशिंग प्लांट भी लगाया गया है, जिसमें ऑटोमैटिक तरीके से ट्रेन की सफाई रात में होगी, ताकि मेट्रो ट्रेन चमचमाती नजर आए। पूरे परिसर को भी साफ-सुथरा रखा जाएगा। अभी प्रबंध संचालक द्वारा लगातार चल रहे निर्माण कार्यों का अवलोकन किया जा रहा है।

17 किलोमीटर का एलिवेटेड कॉरिडोर अभी गांधी नगर से लेकर सुपर कॉरिडोर, एमआर-10 विजय नगर चौराहा से रेडिसन तथा रोबोट चौराहा तक तैयार किया जा रहा है, जिसमें से 6 किलोमीटर के प्रायोरिटी कॉरिडोर पर पहले व्यावसायिक संचालन शुरू किया जाएगा, जिसकी तैयारी जोर-शोर से मध्यप्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन कर रहा है। उसके प्रबंध संचालक एस. कृष्ण चैतन्य लगातार चल रहे निर्माण कार्य और खासकर प्रायोरिटी कॉरिडोर के बचे कामों को पूरा करा रहे हैं।

पेसेंजर रन से जुड़े सभी तरह के परीक्षण दस्तावेजों की जांच की प्रक्रियाभी चल रही है और अभी रोलिंग स्टॉक वॉशिंग प्लांट की प्रगति रिपोर्ट भी उनके द्वारा ली गई। दरअसल, गांधी नगर में ही मेट्रो का विशाल डिपो तैयार किया गया है, जहां पर सारी ट्रेनें खड़ी रहेंगी और यहीं पर प्रशासनिक भवन से मेट्रो से जुड़ा सारा संचालन होगा। गांधी नगर डिपो पर ही अत्याधुनिक वॉशिंग प्लांट लगाया गया है।

दरअसल जो मेट्रो कोच दिनभर यात्रियों को सफर करवाएंगे वे रात में गांधी नगर डिपो पर ही आकर खड़े होंगे, जहां पर ऑटोमैटिक वॉशिंग प्लांट से सभी कोच यानी डब्बों सहित पूरी ट्रेन की धुलाई होगी। वैसे भी मेट्रो ट्रेन के भीतर गंदगी भी नहीं करने दी जाएगी और ट्रेन में लगे कैमरों से भी उस पर निगाह रखी जाएगी। वहीं यहां पर बना कंट्रोल रूम भी लगभग तैयार है। सिग्रलिंग, इंस्पेक्शन सहित सौंदर्यीकरण के कार्यों को भी जल्द पूरा कराया जा रहा है। 6 किलोमीटर का प्रायोरिटी कॉरिडोर, जो गांधी नगर स्टेशन से टीसीएस-3 तक रहेगा उसी पर अभी व्यावसायिक संचालन शुरू किया जाना है। यह भी उल्लेखनीय है कि वडोदरा स्थित प्लांट से मेट्रो के ये कोच लगातार इंदौर आ रहे हैं और आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस की भी सहायता मेट्रो के पूरे ऑपरेशन में ली जा रही है।

 

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