पटना : बिहार में अब सर्वे और चकबंदी के नक्शा लेने के लिए सर्वे कार्यालय जाने की ज़रूरत नहीं होगी। कोई भी योग्य व्यक्ति ऑनलाइन आवेदन कर घर बैठे नक्शा मंगा सकेगा। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने लोगों को नक्शा लेने के दौरान होने वाली परेशानी को देखते हुए नक्शों की होम डिलीवरी शुरू करने का निर्णय लिया है। इस व्यवस्था के तहत जल्द ही नक्शा लेने के इच्छुक लोगों के घरों तक डाक के जरिए नक्शा भेजने की शुरुआत होगी। नक्शा लेने के लिए लोगों को नक्शे के शुल्क के अलावा डाक का खर्च भी देना होगा।
इस संबंध में राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के भू-अभिलेख एवं परिमाप निदेशक जय सिंह ने बताया है कि, “नक्शों की होम डिलीवरी के लिए वेंडर का चयन किया जाएगा और अगले दो महीने में लोगों को घर बैठे नक्शा मिलने लगेगा। गुलजारबाग स्थित बिहार सर्वेक्षण कार्यालय से डाक द्वारा नक्शों की आपूर्ति की जाएगी।”
आपको बता दें कि जमीन की खरीद-बिक्री, खसरों की मापी और मौजों के निर्धारण के लिए नक्शा की जरूरत पड़ती है। सर्वे कार्यालय से अभी रैयतों के इस्तेमाल के लिए A4 साइज के नक्शे के लिए लोगों को 150 रुपए का शुल्क देना पड़ता है। लेकिन अब ऑनलाइन व्यवस्था के तहत नक्शा मंगाने पर लोगों को हर सीट के लिए 150 रुपए देना होगा। इसके अलावा रैयत को डाक खर्च भी देना होगा।
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव विवेक कुमार सिंह ने बताया कि, “अभी राज्य के 32 जिलों में प्लॉटर के जरिए नक्शा की आपूर्ति की जा रही है। इसके अतिरिक्त राज्य के बाहर मुंबई के बिहार फाउंडेशन और दिल्ली के बिहार भवन में प्लॉटर लगाया गया है, जिसके जरिए डिजिटाइज्ड मानचित्रों की आपूर्ति की जा रही है।”
गौरतलब है कि अभी तक भू-अभिलेख और परिमाप निदेशालय वेबसाइट (http://dlrs.bihar.gov.in/) के जरिए A4 साइज में सर्वे और चकबंदी के नक्शे को मुफ्त में उपलब्ध करा रहा था। लेकिन इसके व्यवसायिक इस्तेमाल में लगातार शिकायतें मिलने के बाद विभाग के द्वारा एनआईसी के माध्यम से इसके व्यू में बदलाव किया जा रहा है।